लाइव सिटीज, पटना: चुनाव आयोग ने बुधवार को कहा कि लोकतंत्र को मज़बूत करने के लिए शुद्ध मतदाता सूची अनिवार्य है। मतदाताओं की उत्साहपूर्ण भागीदारी के परिणामस्वरूप, बिहार में चल रहे जनगणना फ़ॉर्मों में से 57% से अधिक का सफलतापूर्वक संग्रह हो पाया है। अभी भी 16 दिन शेष हैं।
आयोग ने कहा कि बिहार के मतदाताओं की विशेष गहन पुनरीक्षण (SIR) में सक्रिय भागीदारी और निर्वाचन अधिकारियों, स्वयंसेवकों और सभी मान्यता प्राप्त राजनीतिक दलों द्वारा नियुक्त 1.56 लाख सक्रिय बूथ स्तर एजेंट्स (BLA) के अथक प्रयासों के फलस्वरूप, इस अभियान के पहले 15 दिनों में कुल 57.48% गणना प्रपत्र एकत्र किए जा चुके हैं।
जानकारी के अनुसार, बुधवार शाम 6 बजे तक, 7,89,69,844 (लगभग 7.90 करोड़) मौजूदा मतदाताओं में से 4,53,89,881 गणना प्रपत्र एकत्र किए जा चुके हैं, जो कुल संख्या का 57.48% है। पिछले 24 घंटे में अर्थात् कल शाम 6 बजे से अब तक, 83,12,804 प्रपत्र एकत्र किए गए हैं, जो अकेले एक दिन में 10.52% की वृद्धि को दर्शाता है। यदि क्षेत्रीय स्तर पर यह गति बनी रहती है तो शेष लगभग 42.5% प्रपत्रों को निर्धारित समयसीमा 25 जुलाई 2025 से पहले ही एकत्र कर लिया जाएगा।
एसआईआर दिशा-निर्देशों के पैरा 3(घ) के अनुसार, अस्थायी रूप से स्थानांतरित (माइग्रेटेड) मौजूदा मतदाता, जनप्रतिनिधित्व अधिनियम 1950 की धारा 20(1क) के तहत, वेबसाइट https://voters.eci.gov.in से पूर्व-भरा हुआ गणना प्रपत्र डाउनलोड कर सकते हैं। ऐसे मतदाता प्रपत्र को प्रिंट कर हस्ताक्षरित कर सकते हैं और 25 जुलाई 2025 से पहले अपने बीएलओ तक, अपने पारिवारिक सदस्यों के माध्यम से या किसी भी ऑनलाइन माध्यम (जैसे व्हाट्सऐप आदि) द्वारा भेज सकते हैं ताकि उनका नाम प्रारूप निर्वाचक नामावली में सम्मिलित किया जा सके। पिछले 15 दिनों की इस अवधि में, 7.90 करोड़ गणना प्रपत्रों का मुद्रण किया गया और उनमें से लगभग 98% (यानी 7.71 करोड़ प्रपत्र) मतदाताओं तक वितरित किए जा चुके हैं।