लाइव सिटीज, पटना: बम्बे हाईकोर्ट ने एक मामले की सुनवाई करते हुए कहा कि अगर कोई महिला अपने पति को बिना सबूत के शराबी कहती है और कैरक्टरलेस होने का आरोप लगाती है तो यह सरासर गलत है. आसान भाषा में कहा जाए तो क्रूरता है. इसे स्वीकार नहीं किया जा सकता है. कोर्ट ने यह फैसला सुनाते हुए उस आदेश को बरकरार रखा जिसमें शादी को खत्म करने के लिए याचिका दर्ज की गई थी.
50 वर्षीय महिला की ओर से फैमिली कोर्ट में एक याचिका दर्ज की गई थी. इस मामले की सुनवाई करते हुए कोर्ट ने याचिका दर्ज करने वाली महिला को जमकर फटकार लगाई है. महिला का कहना था कि मेरी शादी एक आर्मी ऑफिसर से हुई है. पति की मौत हो चुकी है. महिला का दावा है कि शराबी और चरित्र हीन होने के कारण उसे वह अधिकार अब तक नहीं मिल पाया जो कि एक पत्नी को मिलना चाहिए था.
कोर्ट में सुनवाई के दौरान जज का कहना था कि महिला ने बिना सबूत के अपने पति पर शराबी और चरित्रहीन होने का आरोप लगाया है. इसे बर्दाश्त नहीं किया जा सकता. वहीं दूसरे पक्ष के वकील का कहना है कि महिला के इस आरोप के बाद से हमारे मुवकिल का जीना हराम हो गया था. समाज में उनकी काफी बदनामी हुई थी.