लाइव सिटीज, पटना: एनडीए में शामिल सभी दलों ने बिहार विधानसभा चुनाव को लेकर पूरी ताकत झोंक दी है. इस गठबंधन में शामिल पांच दलों के बीच में शीट शेयरिंग का फार्मूला क्या होगा इसे लेकर अभी तक कोई पुख्ता जानकरी सामने नहीं आई है. इस बीच लोजपा संसद अरुण भारती का एक पोस्ट सामने आया है जिसकी चर्चा बिहार की सियासत में हो रही है. इस पोस्ट के जरीय भारती याद दिला रहे हैं कि उनकी पार्टी पिछले विधानसभा चुनाव में अकेले चुनाव में उतरी थी.
लोजपा सांसद ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर लिखा, “कार्यकर्ता ही हमारी पार्टी की असली रीढ़ हैं. पार्टी के लिए जी-जान से मेहनत करने वाले कार्यकर्ताओं की यह स्वाभाविक उम्मीद होती है कि एक दिन उन्हें भी पार्टी की तरफ से जनप्रतिनिधि बनकर जनता की सेवा करने का अवसर मिले. 2020 में जब गठबंधन धर्म के कारण हम अपने कार्यकर्ताओं की इस भावना और उम्मीदों को पूरा नहीं कर सके, तब हमने अकेले चुनाव लड़ने का साहसिक निर्णय लिया. यह केवल चुनावी राजनीति नहीं थी, बल्कि अपने कार्यकर्ताओं की भावनाओं का सम्मान था.”
अरुण भारती ने आगे लिखा, “भले ही उस चुनाव में हम केवल एक सीट जीत पाए, लेकिन सच्चाई यह है कि 137 सीटों पर चुनाव लड़कर हमें 6% वोट मिला था. अगर हम पूरे 243 सीटों पर चुनाव लड़ते, तो हमारा वोट प्रतिशत 10% से भी अधिक होता. यह हमारे कार्यकर्ताओं की ताकत और जनता के विश्वास का जीता-जागता सबूत था. असल में, यह हमारी रणनीतिक चाल और राजनीतिक चरित्र का हिस्सा रहा है. 2020 ने साफ कर दिया कि अगर बिहार की राजनीति में कोई पार्टी अकेले चुनाव लड़ने का माद्दा रखती थी, तो वह केवल लोक जनशक्ति पार्टी थी.”