लाइव सिटीज, पटना: बिहार के पूर्व डिप्टी सीएम व बीजेपी से राज्यसभा सांसद सुशील मोदी ने एक बार फिर से सूबे के सीएम नीतीश कुमार पर करारा हमला बोला है. सुशील कुमार मोदी ने कहा कि नीतीश कुमार एक तरफ पूर्व सांसद आनंद मोहन सहित 27 दुर्दात अपराधियों की रिहाई के लिए कानून बदल रहे हैं, तो दूसरी ओर कुशवाहा समाज के सम्मानित नेता तथा पाँच बार के पूर्व विधायक जवाहर प्रसाद को गिरफ्तार कर उन्हें राम भक्त होने की सजा दिलाने पर आमादा हैं. यह सरकार रामनवमी शोभायात्रा पर पथराव करने वालों को बचा रही है और उन राम भक्तों को ही फँसा रही है, जिन पर जानलेवा हमले हुए.
सुशील मोदी ने आगे कहा कि किसी को न बचाने और न फंसाने का जो दावा नीतीश कुमार करते रहे, वह उनके हाल के फैसलों से बिल्कुल झूठा साबित हो चुका है. उन्होंने कहा कि भाजपा के पूर्व विधायक जवाहर प्रसाद सासाराम में सम्राट अशोक की जयंती पर गृहमंत्री अमित शाह का कार्यक्रम कराना चाहते थे. इससे पहले वहाँ सरकार के इशारे पर अपराधी तत्वों को शह देकर दंगा-जैसे हालात पैदा कर दिये गए, जिससे गृहमंत्री को यात्रा रद करनी पड़ी.
उन्होंने कहा कि सासाराम में उपद्रव शांत होने के लगभग एक महीने बाद जवाहर प्रसाद को उनके घर से गिरफ्तार किया गया ताकि उन असली दंगाइयों को बचाया जा सके, जो राजद-जदयू के वोट बैंक से सीधा वास्ता रखते हैं. सुशील मोदी ने कहा कि जब नीतीश कुमार ने 20 दिन पहले ही कह दिया था कि दंगे में भाजपा का हाथ था, तब उनकी पुलिस उन्हें सही साबित करने के लिए जवाहर प्रसाद की गिरफ्तारी-जैसी एकतरफा कार्रवाई ही कर सकती थी.
सुशील मोदी ने कहा कि जदयू का कुशवाहा खिसकने के बाद नीतीश कुमार बदले की भावना से कुशवाहा समाज को टारगेट कर रहे हैं. उन्होंने कहा कि जवाहर प्रसाद के खिलाफ न कोई एफआईआर दर्ज हुआ था, औऱ ना कोई आरोप था. वे शांति समिति की बैठकों में शामिल होते थे, फिर भी दंगे के एक महीने के बाद उनको गलत तरीके से गिरफ्तार कर लिया गया.
सुशील मोदी ने कहा कि रामभक्तों पर हमले करने वालों का बचाव, श्रीरामचरित मानस पर शिक्षा मंत्री की निंदात्मक टिप्पणी और अब हिंदू संत धीरेंद्र शास्त्री को जेल में डालने की जगदानंद की धमकी से जाहिर है कि महागठबंधन सरकार राजधर्म भूल कर हिंदू-विरोधी हो गई है.