लाइव सिटीज, पटना: बिहार की राजनीति 2020 के विधानसभा चुनाव के बाद से कभी शांत हुई ही नहीं. इसकी प्रमुख वजह सरकार में शामिल दलों के बीच अंतर्विरोध रहना है. जदयू और भाजपा की सरकार में यह समस्या सरकार के शपथ ग्रहण के ठीक बाद से रही, तो जदयू और राजद की सरकार में भी यह परिपाटी पूरी तरह खत्म नहीं हुई है.
राजद के प्रदेश अध्यक्ष जगदानंद सिंह ने आज पत्र जारी कर पार्टी के तमाम नेताओं को कहा है कि वे गठबंधन, सरकार औऱ नेतृत्व के बारे में एक शब्द भी नहीं बोलें. जो बोलना होगा वह तेजस्वी यादव बोलेंगे. बता दें कि राजद ने ऐसा ही फरमान तब जारी किया था जब बिहार में सत्ता का फेरबदल होना था.नीतीश के पाला बदलने से पहले राजद ने अपने तमाम नेताओं को जेडीयू और नीतीश के बारे में कुछ भी बोलने से मना कर दिया था.
राजद के प्रदेश अध्यक्ष जगदानंद सिंह ने शनिवार को पत्र जारी किया है. उन्होंने राजद के सारे सांसद, विधायक, पदाधिकारियों औऱ नेताओं को कहा है कि वे गठबंधन, सरकार औऱ नेतृत्व के बारे में कोई टिप्पणी नहीं करें. जगदानंद सिंह ने अपने पत्र में कहा है कि पहले ही विधायक दल की बैठक में ये फैसला लिया जा चुका है कि गठबंधन और नेतृत्व पर आधिकारिक बयान देने के लिए सिर्फ तेजस्वी यादव ही अधिकृत हैं. बाकी नेताओं को नहीं बोलना है. ऐसे में पार्टी का कोई भी नेता इन मसलों पर बयान नहीं दे.